हे बीत रहे साल!
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हे बीत रहे साल मेरे !
कई एहसान भी हैं तेरे ।
नयी दिशा भी मिली है,
तेरे ही समय में तो मुझे ।
याद रहेगा वर्ष बीत रहे,
हमेशा और हमेशा मुझे।
लिख रखा तुझे सजाकर,
डायरी के पन्नों पर मैंने ।
जीवन के कितने बीते साल,
तू रहा सबमें सबसे सुन्दर।
मैने अपना नवपथ पाया है ,
तेरे ही समय, बीतते साल।
तेरे प्रति है प्यार बस प्यार,
हे मेरे प्यारे बीतते हुए साल ।
मेरे जीवन का साल हुआ है,
एक कम पर अफसोस नहीं।
तूने जो रास्ता दिया है मुझको,
खुशी मुझको उसकी बड़ी है ।
आने वाले साल से जरा करना,
सिफारिश मेरी, निवेदन है मेरी।
सुख चैन दे सभी को, सभी के,
कष्ट को वो कर दे दूर आकर।
नववर्ष सबके लिए हो जग में ,
मंगलमय व खुशियो से भरपूर ।
डॉ.सरला सिंह "स्निग्धा"
दिल्ली
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